शहरी स्थानीय निकाय राज्यमंत्री सुभाष सुधा ने बाढ़ प्रबंधन को लेकर अधिकारियों की ली बैठक, संबंधित विभागों से अभी तक किए गए कार्यों पर ली फीडबैक
कुरुक्षेत्र 10 जून शहरी स्थानीय निकाय राज्यमंत्री सुभाष सुधा ने सोमवार को लघु सचिवालय के सभागार में बाढ़ प्रबंधन के तहत सिंचाई विभाग, नगर परिषद, जनस्वास्थ्य विभाग व अन्य संबंधित के साथ बैठक लेते हुए जो कार्य किए जाएंगे, उसकी समीक्षा करते हुए आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। इस मौके पर उनके साथ उपायुक्त शांतनु शर्मा, अतिरिक्त उपायुक्त डा. वैशाली शर्मा मौजूद रही।
बैठक की अध्यक्षता करते हुए शहरी स्थानीय निकाय राज्यमंत्री सुभाष सुधा ने नगर परिषद, जनस्वास्थ्य विभाग, सरस्वती हेरिटेज बोर्ड व सिंचाई विभाग के अधिकारियों से बाढ़ प्रबंधन के तहत जो कार्य किए जा रहे है, उसकी विस्तार से समीक्षा की। अब तक क्या-क्या कार्य किए जा चुके, आगे कौन से कार्य होंगे, जो मेजर कार्य है, उसके तहत क्या रुपरेखा तैयार की गई है, उसकी जानकारी लेते हुए आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। उन्होंने संबंधित अधिकारियों को यह भी स्पष्ट किया कि नालों-नालियां व नहरों की सफाई का कार्य दुरुस्त होना चाहिए। बरसात से पहले-पहले यह सभी कार्य दुरुस्त हो जाने चाहिए। अधिकारी यह भी ध्यान रखे कि जहां पर भी सफाई व्यवस्था का कार्य किया जाए, उसकी फोटो लेना सुनिश्चित करें और सफाई के कार्य के तहत मौजिज लोगों के हस्ताक्षर भी लें ताकि उनकी भी सफाई कार्य के प्रति संतुष्ट हो सके।
उन्होंने कहा कि सफाई व्यवस्था के उपरांत जो भी गाद या कूड़ा-कर्कट या गंदगी निकलती है, वह वहां से दो दिन के अंदर-अंदर उठनी सुनिश्चित होनी चाहिए। इस कार्य में किसी प्रकार की लापरवाही सहन नहीं की जाएगी। उन्होंने यह भी कहा कि वे सफाई व्यवस्था के कार्य की वास्तविकता जानने के लिए 10 दिन के बाद यानि 20 जून को मौका निरीक्षण करेंगे यदि कहीं लापरवाही सामने आई तो तुरंत कार्रवाई अमल में लाई जाएगी। उन्होंने कहा कि जिला प्रशासन व सरकार द्वारा हर संभव प्रयास किया जाता है कि लोगों को बरसात के दिनों में किसी प्रकार की दिक्कत का सामना ना करना पड़े, कहीं पर भी जलभराव की स्थिति उत्पन्न ना हो, इसी के तहत आज संबंधित विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक लेकर उन्हें सफाई व्यवस्था के तहत दिशा-निर्देश दिए गए है।
उन्होंने कहा कि इस कार्य में आम जनमानस का सहयोग भी बेहद आवश्यक है। दुकानदार, किसान या जो भी है, वह अपनी दुकानों से सफाई उपरांत जो कूड़ा-करकट निकलता है, उसे नालियों में ना डाले, ऐसा होने से बरसात के दिनों में जलभराव की स्थिति उत्पन्न हो सकती है और जिला प्रशासन द्वारा जो भी कार्य किए जाते है, व्यर्थ हो जाते है। इस मौके पर उन्होंने बातचीत करते हुए यह भी बताया कि जिला प्रशासन द्वारा नालों व नहरों की सफाई का कार्य शुरु कर दिया गया और संबंधित विभाग के अधिकारियों ने 30 जून तक यह कार्य पूरा करने बारे आश्वासन दिया है। उन्होंने यह भी बताया कि पिछले वर्ष पहाड़ी क्षेत्र से अचानक ज्यादा पानी आने के कारण कुरुक्षेत्र के लोगों को काफी समस्या का सामना करना पड़ा था, इस बात को ध्यान में रखते हुए कहीं पर भी अब ऐसी स्थिति ना हो, इसके लिए रूपरेखा तैयार करते हुए कार्य किए जा रहे है। जहां पर जलभराव की स्थिति ज्यादा उत्पन्न हुई थी, वहां पर आवश्यक कार्यों को प्राथमिकता से किया जा रहा है। सरकार व जिला प्रशासन हर कार्य को बेहतर तरीके से कर रहा है।
इस मौके पर उपायुक्त शांतनु शर्मा ने भी कहा कि पिछले वर्ष बाढ़ के चलते जो नुकसान हुआ था, उस को ध्यान में रखते हुए सभी जगहों पर कार्य किए जा रहे है। संबंधित विभाग के अधिकारी फील्ड में रहकर सफाई व्यवस्था के कार्य को बेहतर तरीके से करना सुनिश्चित करें, अभी बरसात आने के 20 से 25 दिन बचे है, इसलिए सभी नहरे, नालियां व नालों की सफाई समय रहते की जानी सुनिश्चित होनी चाहिए ताकि जलभराव की स्थिति उत्पन्न ना हो सके। पब्लिक में भी साफ संदेश जाना चाहिए कि जिला प्रशासन बेहतर समन्वय बनाकर बाढ़ से बचाव बारे कार्य कर रहे है। जहां पर भी सफाई व्यवस्था होती है, वहां के लोगों से भी इस कार्य की प्राथमिकता ले। मकसद सफाई व्यवस्था के कार्य को करना है। इस मौके पर सिंचाई विभाग, जन स्वास्थ्य विभाग, सरस्वती हेरिटेज बोर्ड, नगर परिषद के अधिकारियों ने अपने-अपने विभाग से संबंधित जो कार्य किए जा रहे, उसकी विस्तार से जानकारी दी। इस मौके पर सिंचाई विभाग से कार्यकारी अभियंता मुनीष बब्बर, सरस्वती हेरिटेज से कार्यकारी अभियंता नवतेज सिंह, जनस्वास्थ्य विभाग के कार्यकारी अभियंता के साथ-साथ अन्य संबंधित मौजूद रहे।