जिला पुलिस के महिला थाना की विभिन्न टीमो ने वर्ष 2024 में महिला थाना में 754 प्राप्त परिवादों में मध्यस्थता करते हुये कुल 670 परिवादों का सामाजिक स्तर पर समझौता कराते हुए किया निपटारा तथा 84 परिवादो पर मामले दर्ज करके अदालत में दिए गये । जिला पुलिस द्वारा महिला विरूद्व अपराधों में अदालत में सुनवाई के दौरान दमदार व उत्कृष्ट पैरवी करते हुये अपराधियों को सजा दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
जानकारी देते हुये महिला थाना प्रभारी कुलबीर कौर ने बतलाया कि पुलिस अधीक्षक श्री वरुण सिंगला के कुशल मार्गदर्शन में महिला थाना द्वारा किये जा रहे अथक प्रयासों के सार्थक परिणाम सामने आ रहे हैं। महिला थाना घरेलू हिंसा व दहेज प्रताडना से संबंधित प्राप्त परिवादों पर पुलिस अधीक्षक द्वारा दिये गये दिशा-निर्देश अनुरूप कार्य करता है। थाना मे प्राप्त परिवादों पर 3 बार दोनों पक्षों की काउसिलिंग कराई जाती है तथा हरसंभव प्रयास आपसी मतभेद दूर करने के किये जाते हैं। जिनके परिणाम स्वरूप वर्ष 2024 में अब तक महिला थाना में प्राप्त 754 परिवादों में मध्यस्थता करते हुये 670 परिवादों का सामाजिक स्तर पर समझौता कराते हुये निपटारा किया गया। इसके साथ ही 84 परिवादो पर मामले दर्ज कर करके अदालत में अग्रसित किये गये, कोई भी परिवाद बकाया नही है। महिला थाना प्रभारी ने बताया कि जिला पुलिस महिला विरूद्व अपराधियों को सजा दिलाने में कोई कसर नहीं छोड रही है। इन मामलों में अपराधी के विरूद्व महत्वपूर्ण साक्ष्य जुटाकर व अभियोग में प्रभावी कार्यवाही करते हुये अपराधियों को कठोरतम सजा दिलाकर पीडित को न्याय दिला रही है। मुख्यत नाबालिग पीडिता के साथ दुष्कर्म वा पोक्सो एक्ट के तहत दर्ज मामलो में जिला पुलिस की दमदार पैरवी से आरापियों को कठोर कारावास व जुर्माना की सजा होती है।
जानकारी देते हुए पुलिस अधीक्षक वरुण सिंगला ने बताया कि महिलायों की सुरक्षा के लिए कुरुक्षेत्र पुलिस कटिबद्ध है। महिलायों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए महिला थाना के अलावा जिला के प्रत्येक थाना में एक महिला हेल्प डेस्क बनाया गया है। कोई भी पीडित महिला अपने नजदीक के थाना में महिला हेल्प डेस्क पर अपनी शिकायत दर्ज करवा सकती है। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि सभी थाना प्रभारियों को निर्देश दिए गए है कि महिला विरुद्ध अपराधों में बिना किसी देरी के कारवाई करें।
राजस्व रिकार्ड में फेरबदल करके धोखाधड़ी करने का आरोपी को मामले में शामिल तफ्तीश किया ।
जिला पुलिस ने राजस्व रिकार्ड में फेरबदल करके धोखाधड़ी करने के आरोपी को मामले में शामिल तफ्तीश करके गिरफ्तार किया है । थाना शहर थानेसर की टीम ने राजस्व रिकार्ड में फेरबदल करके धोखाधड़ी करने के आरोपी कुलभूषण खरबन्दा पुत्र कृष्ण लाल वासी राजन गली थानेसर को शामिल तफ्तीश करके गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की है ।
जाकारी देते हुए पुलिस प्रवक्ता ने बताया कि ईशवर चन्द पुत्र रतन लाल के केस वर्ष 2015 से 2018 के संबंध में माननीय लोकायुक्त महोदय चन्डीगढ से डाक के माध्यम से थाना शहर थानेसर में एक शिकायत प्राप्त हुई थी जिसमें शिकायतकर्ता मे प्राप्त हुई थी जिसमें ईश्वर चन्द पुत्र रतन लाल वासी राम चन्द्र कालोनी थानेसर जिला कुरुक्षेत्र में बताया था कि केस नं0 448/96 कार्यकारी अधिकारी, नगर परिषद थानेसर व केस नं0 37 / 2013 ईश्वर चन्द पुत्र रतन लाल बनाम नगर परिषद , थानेसर के केस में रसीद नं0 1752/17 दिनांक 26.3.1995 नाम ईश्वर चन्द गुप्ता राशि 173/रू जोकि नगर परिषद, थानेसर द्वारा जारी की गई थी । कार्यकारी अधिकारी ने दुकान के लाईसैंस की रसीद को इन्होने तहबाजारी की रसीद बनाकर न्यायालय में उसके केस में प्रस्तुत किया गया था । जबकि ईश्वर चन्द गुप्ता पुत्र जगत राम गुप्ता दूसरा व्यक्ति है । जबकि केस में साल 1949 का रजिस्टर/रिकार्ड न्यायालय मे प्रस्तुत कर रखा है। जबकि साल 1849 में नगर परिषट थानेसर अस्तित्व में ही नही थी । हरियाणा सरकार के करनाल गजट के अनुसार नगर परिषद , थानेसर साल 1867 में सबसे पहले अस्तित्व में आई थी । ये रजिस्टर इन्होने फर्जी रूप से तैयार किया हआ है। जबकि हाउस टैक्स रजिस्टर में बिना किसी आधार व सबूतों के फेर बदल करने का अधिकार बिना किसी अधिकारी/कर्मचारी को नही है लेकिन वर्ष 1991-92 में 41/12 ए पूर्व उप प्रधान जय नारायण शर्मा ने अपने कार्यकाल के दौरान नगर परिषद, थानेसर के अधिकारियों/कर्मचारियों की मिलीभगत से अपना नाम दर्ज (इन्द्राज ) कर हाउस टैक्स रजिस्टर में रणबीर सिंह लिपिक द्वारा लिख दिया । नगर परिषद, थानेसर के कार्यकारी अधिकारी एम.एस. जगत द्वार पत्र दिनांक 05.01.2015 को एक ही क्रमांक के दो-2 पत्र जारी कर रखे है व दोनो पत्रों में एक-एक पैरा अधिक है । उसकी दुकान कच्चा घेर थानेसर में है जो राजस्व रिकार्ड साल 1849 से उसके पूर्वजों के नाम से चली आ रही है व आज उसके नाम पर है । जिसको नगर परिषद , थानेसर के अधिकारियों ने गैर कानूनी रूप से हथियाने के लिए सील किया हुआ है और नगर परिषद , थानेसर के पास दुकान को सील करने का कोई अधिकार नही है व किसी भी न्यायालय से दुकान सील करने का आदेश प्राप्त नही है। जिसकी शिकायत पर थाना शहर थानेसर में मामला दर्ज करते हैं जांच थाना कृष्णा गेट के ऐसे राकेश कुमार को सौंप दी थी जिसे मामले की जनता से जांच करते हुए धोखाधड़ी करने के आरोपी कुलभूषण खरबन्दा पुत्र कृष्ण लाल वासी राजन गली थानेसर को काबू करके मामले में शामिल तफ्तीश किया गया।
हैडरा क्रेन से दुर्घटना करने के आरोपी को मामले में शामिल तफ्तीश किया ।
जिला पुलिस ने हैडरा क्रेन से दुर्घटना करने के आरोपी करने के आरोपी को मामले में शामिल तफ्तीश करके गिरफ्तार किया है । थाना सदर पेहवा की टीम ने पुलिस ने हैडरा क्रेन से दुर्घटना करने के आरोपी सुनील कुमार वासी पेहवा को शामिल तफ्तीश करके गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की है ।
जानकरी देते हुए पुलिस प्रवक्ता ने बताया कि दथाना सदर पेहवा में पुलिस को दी अपनी शिकायत में राजेन्द्र कुमार पुत्र मनसा राम गोयल वासी माडल टाउन पेहवा जिला कुरुक्षेत्र बताया कि उसका पेहवा मे मेडिकल स्टोर है। वह और भाई जगदीश चन्द दोनो राधा स्वामी सतसगं घर नजदीक मधु डायरी मे सेवा करते है। वह दोनो मोटरसाइकिल न0 एचआर41जे 0288 स्पलेडर पर सवार होकर घर से सेवा करने के लिए राधा स्वामी घर नजदीक मधु डायरी आये थे ।और शाम को सेवा करने के बाद वापिस घर के लिए चले तो वह राधा स्वामी घर के सकेट्ररी प्रदीप कुमार के साथ मोटरसाईकिल बैठ गया ओर उसका भाई अपनी मोटरसाईकिल पर घर के लिए चल दिये । उसका भाई उन से आगे-2 चल रहा था । जब वह मधु डायरी से थोडा आगे ही निकले थे तो पीछे से कैथल साईड से एक हैडरा क्रेन का चालक अपनी हैडरा क्रेन को बडी तेज रफ्तारी वा लापरवाही से चलाता हुआ आ रहा था ओर बहुत तेज स्पीट मे उनकी मोटर साईकिल को क्रोस किया और उसके भाई जगदीश की मोटर साईकिल टक्कर मारी और हैडरा क्रेन का आगे वाला टापा उसके भाई के उपर चढ गया। उन्होंने अपनी मोटरसाईकिल साईड मे खडी की। हेडरा चालक भी अपनी क्रेन को रोककर हमारे पास आया। उसके बाद भाई जगदीश को ईलाज के लिए सरस्वती मिशन हस्पताल पेहवा मे दाखिल ओर डाक्टर साहब ने उसके भाई को मृत घोषित कर दिया था। जिसकी शिकायत पर थाना सदर पेहवा में मामला दर्ज करके जांच चौकी गुमथला गुड्डू के एएसआई कृष्ण कुमार को सौंप दी थी। जिसे मामले की जांच करते हुए हाइड्रा को कब्जे में लेकर और एक्सीडेंट करने के आरोपी को मामले में शामिल जांच करते पुलिस जमानत पर रिहा किया गया।