शहर में कचरा बन चुका है गंभीर विषय, कचरे के दुष्प्रभावों के प्रति युवा पीढ़ी को किया जा रहा है जागरूक, स्कूलों में जाकर विद्यार्थियों को दिए जा रहे है स्वच्छता के टिप्स
कुरुक्षेत्र 11 मार्च। जिला नगर आयुक्त सतेन्द्र सिवाच ने कहा कि भावी पीढ़ी को भयंकर बीमारी से बचाने के लिए कचरे का उचित प्रबंधन करना होगा और इस शहर को साफ और स्वच्छ बनाने के लिए युवा पीढ़ी को एक ब्रांड अम्बेसडर की भूमिका निभानी होगी। इससे पहले युवा पीढ़ी के साथ-साथ शहर के नागरिकों को कचरे को उचित स्थान पर रखने के प्रति अपनी मानसकिता में भी बदलाव लाना होगा।
जिला नगर आयुक्त सतेन्द्र सिवाच ने मंगलवार को स्वच्छता अभियान को लेकर पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि थानेसर शहर को स्वच्छता की सूचि में टॉप रैंक में लाने के लिए अथक प्रयास किए जा रहे है। इसके लिए नगरपरिषद थानेसर की तरफ से शहर को स्वच्छ बनाने के लिए अलग-अलग टीमों का गठन किया गया है और सभी टीमें अपने-अपने क्षेत्र में जाकर कार्य कर रही है। इस शहर को स्वच्छ बनाने के लिए सबसे जरूरी है लोगों में जागरूकता लाना। इसके लिए नप प्रशासन की तरफ से एक विशेष टीम का भी गठन किया गया है यह टीम स्कूलों मेें जाकर विद्यार्थियों को स्वच्छता के प्रति जागरूक कर रही है।
नगर परिषद थानेसर आई.ई.सी एक्सपर्ट बीरेंद्र कुमार भारद्वाज ने कहा कि कचरा आज के समय में एक गंभीर विषय बन चुका है जो प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है अगर ऐसा ही चलता रहा तो आने वाले समय में हमारे भविष्य के लिए कचरा घातक सिद्ध होगा। उन्होंने कहा कि नगर परिषद थानेसर टीम हर वार्ड, स्कुल एवं सार्वजानिक जाकर कचरे के बारे में जानकारी दे रही है। सरकार द्वारा विभिन्न योजनाए चलाई जा रही है समय-समय पर कार्यक्रमों का आयोजन करके लोगों को जागरूक किया जा रहा है कि शहर के नागरिक अपने घरों में दो तरह के डस्टबीन रखें जिसमें गीला और सूखे कचरे को अलग अलग से डाल सके।
नगर परिषद के सी.एस.आई जीतेन्द्र नरवाल ने कहा कि स्थानीय लोग अपने आस पास खाली प्लाट में कचरा डालते है जिस कारण वहां बीमारियां फैलने का खतरा बना रहता है उन्होंने कुछ स्थानों का मौका निरिक्षण भी किया गया और वहां पर काफी मात्रा में प्लास्टिक की थैलियां व् अन्य कचरा पड़ा हुआ पाया गया है। जो लोग खुले में कचरा डाल रहे है नगर परिषद् द्वारा उन लोगों के खिलाफ सख्त कार्यवाही अमल में लाई जाएगी। उन्होंने लोगों से अपील करते हुए कहा कि घरों के कचरे को खुले में सडक़ों या खाली स्थान पर ना डाले, नगरपरिषद थानेसर द्वारा लगाए गए टिपरों में ही गीले और सूखे कचरे का प्रबंधन कर अलग-अलग से डाले ताकि इस शहर को स्वच्छता की रैंकिंग में टॉप रैंक पर लाया जा सके।