शक्तिरानी शर्मा के कालका विधायक बनने से गत एक माह से  मेयर पद  रिक्त 
अम्बाला — एक माह पूर्व 8 अक्टूबर 2024 को अम्बाला नगर निगम की तत्कालीन मेयर शक्ति रानी शर्मा पंचकूला जिले की कालका विधानसभा सीट से भाजपा विधायक निर्वाचित हुई.  चार वर्ष पूर्व   दिसम्बर,2020 में शक्ति रानी हरियाणा जनचेतना पार्टी – हजपा (वी) के टिकट और चुनाव-चिन्ह (गैस सिलेंडर)  पर चुनाव लड़कर अम्बाला नगर निगम के मेयर पद  पर  प्रत्यक्ष (सीधी) निर्वाचित हुई थी एवं दो माह पूर्व   1 सितम्बर  को  वह भाजपा में शामिल हुई जिसके कुछ दिन  बाद ही  भाजपा द्वारा उन्हें कालका वि.स. सीट से पार्टी‌ प्रत्याशी घोषित कर दिया गया था.
 बहरहाल,  शहर   निवासी  हाईकोर्ट  एडवोकेट और म्युनिसिपल कानून  के  जानकार   हेमंत कुमार ( 9416887788)  ने  हरियाणा नगर निगम कानून, 1994 की धारा 8 ए‌ का हवाला देते हुए‌ बताया कि  उसके अंतर्गत प्रदेश के किसी नगर निगम का  मेयर अथवा नगर निगम  सदस्य (जिन्हें  आम भाषा में पार्षद भी कहते हैं हालांकि यह शब्द नगर निगम कानून में नहीं है) एक ही समय  पर मेयर या  न.नि. सदस्य एवं साथ साथ  विधायक या सांसद नहीं रह सकता है. अगर कोई व्यक्ति नगर निगम के  मेयर पद या सदस्य होते हुए प्रदेश की विधानसभा या संसद के लिए  निर्वाचित हो जाता है, तो विधायक या सांसद के तौर पर निर्वाचित घोषित होने की तारीख से वह नगर निगम का मेयर या न.नि. सदस्य  नहीं रहेगा. इसी प्रकार गत माह  8 अक्टूबर से कालका विधायक निर्वाचित होने की तिथि से ही कानूनी तौर पर  शक्ति रानी शर्मा  अंबाला नगर निगम की मेयर नहीं‌ हैं. इसके लिए उन्हें औपचारिक तौर पर मेयर पद से त्यागपत्र देने की कोई आवश्यकता नहीं है.
 हेमंत ने आज  इस विषय पर हरियाणा की वर्तमान  नायब सैनी सरकार में शहरी स्थानीय निकाय विभाग के मौजूदा  मंत्री  विपुल गोयल, विभाग के आयुक्त एवं सचिव विकास गुप्ता, विभाग के निदेशक यश पाल, अम्बाला मंडल की आयुक्त गीता भारती, अम्बाला डीसी पार्थ गुप्ता, अम्बाला नगर निगम  के नए आयुक्त  सचिन गुप्ता और हरियाणा के राज्य निर्वाचन आयुक्त धनपत सिंह को  लिखकर उनसे अम्बाला नगर निगम के मेयर को औपचारिक और आधिकारिक तौर पर रिक्त घोषित करने और साथ साथ नए मेयर के उपचुनाव के लिए अर्थात निवर्तमान मेयर शक्ति रानी शर्मा के शेष बचे करीब करीब सवा वर्ष  के कार्यकाल के लिए नया मेयर चुनने की प्रक्रिया आरम्भ करने का मामला उठाया है.
हेमंत ने बताया कि चूँकि हरियाणा में वर्ष 2018 से  नगर निगम मेयर  के लिए  सम्बंधित निगम क्षेत्र के मतदाताओं द्वारा प्रत्यक्ष ( सीधा ) निर्वाचन किया जाता है, इसलिए  शक्ति रानी शर्मा के    विधायक निर्वाचित होने के फलस्वरूप  रिक्त हुए   मेयर पद की   शेष  अवधि अर्थात जनवरी, 2026 तक के  लिए  मौजूदा अंबाला नगर निगम के 20 निर्वाचित नगर निगम सदस्यों में से नए मेयर का अप्रत्यक्ष निर्वाचन नहीं किया जा सकता है. हालांकि अगर प्रदेश सरकार चाहे‌ तो‌ वह हरियाणा राज्य निर्वाचन  आयोग से  अंबाला नगर निगम के मेयर पद की शेष अवधि के लिए  उपचुनाव कराने के लिए लिख सकती है विशेष‌ तौर पर चूंकि अंबाला नगर निगम का शेष कार्यकाल 6 माह से अधिक बचा है. हालांकि जब तक नियमित  मेयर का चुनाव नहीं  होता या कराया जाता, तब तक  नगर निगम मेयर पद का कार्यवाहक चार्ज  ( कार्यभार) निवर्तमान  मेयर के वर्ग  अर्थात  मौजूदा निगम सदन की  किसी अन्य निर्वाचित महिला नगर निगम सदस्य को दिया जा‌ सकता है हालांकि क्या मेयर का कार्यभार मौजूदा सीनियर डिप्टी मेयर मीना ढींगरा को भी दिया जा सकता है, इस पर हेमंत का कहना है कि ऐसा प्रदेश सरकार के शहरी स्थानीय निकाय विभाग पर निर्भर करता है‌ हालांकि हरियाणा में  ऐसा पहले कभी नहीं हुआ कि मौजूदा नगर निगम मेयर हरियाणा विधानसभा चुनाव में निर्वाचित‌ होकर विधायक बना हो.

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