फूलों की वर्षा कर संगत ने किया श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी महाराज का भव्य स्वागत
एचएसजीएमसी स्पोकसमैन कवलजीत सिंह अजराना की अगुवाई में केसरी दस्तार सजा कर उमरी पहुंची सिख संगत
कुरुक्षेत्र, १२ मार्च
दिल्ली से लाए गए श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी महाराज के नए स्वरूपों का उत्साह से लबरेज केसरी दस्तार में सजी सिख संगत ने बोले सो निहाल सत्श्री अकाल की गूंज और फूलों की वर्षा के साथ भव्य स्वागत किया। मोटरसाइकिल व स्कूटी का काफिला लेकर हरियाणा सिख गुरुद्वारा मैनेजमैंट कमेटी के स्पोकसमैन कवलजीत सिंह अजराना के नेतृत्व में पहुंची संगत ने उमरी में पूरे जोश से श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी महाराज लेकर पहुंचे पंज प्यारों को सिरोपा पहना कर अभिनंदन किया। जैसे ही श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी महाराज के स्वरूप उमरी पहुंचे, तो भारी गिनती में पहुंची संगत ने बोले सो निहाल सत्श्री अकाल का उद्घोष किया। संगत ने फूलों की बरसात करते हुए श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी महाराज के समक्ष शाीश नवाया और फिर नाम सिमरन करते हुए संगत ने पंज प्यारों की अगुवाई में वहां से ऐतिहासिक गुरुद्वारा साहिब पातशाही छठी की ओर रूख किया। बीच रास्ते में अनेक स्थानों पर संगत ने श्रद्धाभाव से श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी महाराज का स्वागत किया। यही नहीं, इस दौरान संगत फलों व मिष्ठान का प्रसाद भी वितरित किया। गुरुद्वारा साहिब पहुंचने पर भी वहां पहले से मौजूद संगत ने काफिले का जोरदार अभिनंदन किया।
इससे पहले पत्रकारों से बातचीत करते हुए हरियाणा सिख गुरुद्वारा मैनेजमैंट कमेटी के स्पोकसमैन कवलजीत सिंह अजराना ने कहा कि श्री गुरु ग्रंथ साहिब महाराज सभी दस गुरु साहिबान की ज्योत है और सिख के लिए सत्कारयोग है। उन्होंने बताया कि अलग-अलग क्षेत्रों में स्थापित गुरुद्वारा साहिबान में सुशोभित करने के लिए श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी महाराज के स्वरूप की मांग को पूरा करने के लिए दिल्ली से श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी महाराज के ५० स्वरूप यहां लाए गए हैं। उन्होंने बताया कि जहां से भी मांग आती है, पहले वहां धर्म प्रचार के प्रचारक द्वारा पड़ताल की जाती है। पड़ताल के बाद ही श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी महाराज का स्वरूप दिया जाता है। इस मौके पर हरियाणा सिख गुरुद्वारा मैनेजमैंट कमेटी की कार्यकारिणी समिति मैंबर बीबी रविंदर कौर अजराना, धर्म प्रचार सचिव भरपूर सिंह, एडिशनल सैकेटरी राजपाल सिंह दुनियामाजरा, उप सचिव रूपिंदर सिंह, सतपाल सिंह, अमरिंदर सिंह, धर्म प्रचार के सहायक सुपरवाईजर गुरपेज सिंह, मैनेजर जज सिंह, सिख नेता नरेंद्र सिंह गिल, तजिंदर सिंह मक्कड़, जगजीत सिंह, गुरबीर सिंह, जगजीत सिंह, हरकीरत सिंह, प्रभजोत सिंह, गुरमीत सिंह, सुखविंदर सिंह, गुरलाल सिंह, वरिंदर सिंह दुनियामाजरा, गुरविंदर सिंह, भूपिंदर सिंह दुनियामाजरा, हरदयाल सिंह सहित भारी गिनती में संगत मौजूद रही।