कुरुक्षेत्र 17 दिसम्बर। अंतर्राष्ट्रीय गीता महोत्सव में ब्रहमसरोवर के घाटों पर विभिन्न प्रदेशों के कलाकार अपनी संस्कृति का परिचय देते हुए प्रस्तुतियां दे रहे हैं। इसी कड़ी में हरियाणा कला परिषद की ओर से 48 कोस  भूमि में स्थित तीर्थों पर सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रारम्भ किए गए हैं। 17 से 24 दिसम्बर तक चलने वाले इन कार्यक्रमों में पहले दिन 32 तीर्थों पर हरियाणा कला परिषद के माध्यम से कलाकारों ने अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन किया। यह जानकारी हरियाणा कला परिषद अम्बाला मण्डल के अतिरिक्त निदेशक नागेंद्र शर्मा ने दी। उन्होंने बताया कि इस वर्ष हरियाणा कला परिषद द्वारा 100 से अधिक तीर्थ स्थलों पर सांस्कृतिक प्रस्तुतियां करवाई जा रही हैं। जिसमें प्रदेश के लगभग 75 सांस्कृतिक दल अपनी कला को प्रदर्शित करते हुए हरियाणवी नृत्य, रागनी तथा भजनों आदि की प्रस्तुतियां दे रहे हैं। नागेंद्र शर्मा ने बताया कि 17 दिसम्बर को 48 कोस भूमि के अंतर्गत आने वाले जिले कुरुक्षेत्र, जींद, कैथल, करनाल तथा पानीपत के 32 तीर्थों पर कार्यक्रम आयोजित किए गए, जिनमें अमीन में स्थित अदिति तीर्थ, हथीरा का बालासुंदरी तीर्थ, श्रीतीर्थ कसान, भीष्मकुण्ड नरकातारी, अरंतुक तीर्थ बेहरजक्ष, वराहतीर्थ, बराहकलां, जम्दग्नि तीर्थ जामनी, वेदवती तीर्थ सीतामाई, कौशिकी तीर्थ कोयर, कुलोतारण तीर्थ कारसा, त्रिपुरारि तीर्थ टिगरी, काम्यक तीर्थ कमौदा, ग्यारहरुद्री कैथल, नवदुर्गा तीर्थ, देवीगढ़, पुण्डरिक तीर्थ, पुण्डरी, यज्ञसंग तीर्थ ग्योंग, फल्गू तीर्थ फरल, अलेपक तीर्थ साकरा, यमकुण्ड तीर्थ भैंसीमाजरा, सूर्यकुण्ड तीर्थ हाबड़ी, बटेश्वर तीर्थ बरोट, श्रृंगीतीर्थ, च्यवनऋषि तीर्थ, श्रीतीर्थ, बाल्यशिल्य तीर्थ, ययाति तीर्थ, सर्पदमन तीर्थ, मिश्रक तीर्थ, फल्गू तीर्थ, ढूण्डीराज सौंकड़ा, शाकुम्भरी तीर्थ आदि पर प्रस्तुतियां हुई। नागेंद्र शर्मा ने यह भी बताया कि अतिरिक्त उपायुक्त एवं निदेशक हरियाणा कला परिषद अखिल पिलानी के दिशा-निर्देश में तथा नागेंद्र शर्मा के नेतृत्व में 17 से 24 दिसम्बर तक 48 कोस तीर्थ पर 108 कार्यक्रमों के माध्यम से प्रस्तुतियां देने वाले दलों में लगभग 1000 कलाकार अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन करेगें, जिनमें प्रतिष्ठित तथा उभरते कलाकार शामिल हैं।

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