डॉ. राजेश वधवा
कुरूक्षेत्र। यूएचबीवीएन के अधीक्षण अभियंता अशोक यादव ने कहा कि हरियाणा सरकार ने अंत्योदय परिवार के उन लोगों को राहत प्रदान करने का निर्णय लिया है जिनके बिजली के बिल पेंडिंग हैं । इसी उद्देश्य को ध्यान में रखते हुए ऐसे परिवारों के लिए एक व्यापक योजना तैयार की गई है। सभी अंत्योदय परिवार जिनकी पारिवारिक सूचना डेटा रिपॉजिटरी एफ आई डी आर में पी. पी .पी. डेटा के अनुसार सत्यापित आय प्रति वर्ष 1 लाख रुपये तक है और जो घरेलू उपभोक्ता हैं। जिनकी बिजली की औसत मासिक 150 खपत है। यह योजना उन पात्र अंत्योदय परिवारों को राहत प्रदान करेगी जिनके बिलिंग चक्र में दो या दो से अधिक लगातार चूक है।
क्या है छूट योजना
अधीक्षण अभियंता ने कहा कि पात्र अंत्योदय घरेलू उपभोक्ता की चूक राशि योजना की अधिसूचना की तिथि पर रोकी जा सकती है। ऐसे पात्र परिवारों की डिफ़ॉल्ट राशि से युक्त अधिभार पूरी तरह से छूट दी जाएगी। इस योजना में कट- ऑफ तिथि के अनुसार मूल राशि का 50 प्रतिशत भी माफ कर दिया जाएगा। इस योजना में मूल राशि का शेष 50 प्रतिशत एक वर्ष की मोहलत के बाद तीन वर्षों में वसूल करने के लिए रोक दिया जाएगा। वसूली योग्य ऐसी मूल राशि पर कोई अधिभार नहीं लगाया जाएगा। खास बात ये है कि डिस्कनेक्शन के मामले में कनेक्शन को अग्रिम खपत जमा (ए सी डी) के अलावा किसी भी अतिरिक्त शुल्क के बिना बहाल किया जाएगा।
योजना में ऐसा भी होगा
अधीक्षण अभियंता ने कहा कि यदि कोई पात्र अंत्योदय घरेलू उपभोक्ता योजना का चयन करने के बाद लगातार 2 बिलिंग चक्रों के लिए बिजली बिलों के भुगतान में चूक करता है और योजना का लाभ प्राप्त करता है । ऐसा पात्र अंत्योदय परिवार अधीक्षण अभियंता (ओ. पी.) (सक्षम प्राधिकारी होने के नाते) के समक्ष फिर से प्रतिनिधित्व कर सकता है। ) अन्य राहत के लिए बशर्ते ऐसी राहत का दावा पहले अधिभार और आंशिक मूल माफी का लाभ प्राप्त करने की तारीख से दो वर्ष बीत जाने के बाद ही किया गया हो। तथापि, पात्र अंत्योदय परिवार में पूर्व लाभ प्राप्त करने की तिथि के बाद किसी मृत्यु या स्थायी अपंगता की स्थिति में 2 वर्ष की अवधि समाप्त होने की शर्त लागू नहीं होगी। यदि अंत्योदय परिवार इस बीच 1 लाख रुपये की वार्षिक आय सीमा को पार कर जाता है, तो ऐसा परिवार आगे लाभ प्राप्त करने के लिए पात्र नहीं होगा। पात्र अंत्योदय घरेलू उपभोक्ताओं को अपने विवादों को निपटाने (बिजली की चोरी) का अवसर दिया जायेगा जिसमे विवादित राशि का 25 प्रतिशत भुगतान करना होगा और यह राहत इस शर्त के अधीन होगी कि पात्र अंत्योदय घरेलू उपभोक्ता सभी मुकदमों को वापिस ले लेगा और बकाया राशि का भुगतान शर्तानुसार करेगा।
कुरूक्षेत्र। यूएचबीवीएन के अधीक्षण अभियंता अशोक यादव ने कहा कि हरियाणा सरकार ने अंत्योदय परिवार के उन लोगों को राहत प्रदान करने का निर्णय लिया है जिनके बिजली के बिल पेंडिंग हैं । इसी उद्देश्य को ध्यान में रखते हुए ऐसे परिवारों के लिए एक व्यापक योजना तैयार की गई है। सभी अंत्योदय परिवार जिनकी पारिवारिक सूचना डेटा रिपॉजिटरी एफ आई डी आर में पी. पी .पी. डेटा के अनुसार सत्यापित आय प्रति वर्ष 1 लाख रुपये तक है और जो घरेलू उपभोक्ता हैं। जिनकी बिजली की औसत मासिक 150 खपत है। यह योजना उन पात्र अंत्योदय परिवारों को राहत प्रदान करेगी जिनके बिलिंग चक्र में दो या दो से अधिक लगातार चूक है।
क्या है छूट योजना
अधीक्षण अभियंता ने कहा कि पात्र अंत्योदय घरेलू उपभोक्ता की चूक राशि योजना की अधिसूचना की तिथि पर रोकी जा सकती है। ऐसे पात्र परिवारों की डिफ़ॉल्ट राशि से युक्त अधिभार पूरी तरह से छूट दी जाएगी। इस योजना में कट- ऑफ तिथि के अनुसार मूल राशि का 50 प्रतिशत भी माफ कर दिया जाएगा। इस योजना में मूल राशि का शेष 50 प्रतिशत एक वर्ष की मोहलत के बाद तीन वर्षों में वसूल करने के लिए रोक दिया जाएगा। वसूली योग्य ऐसी मूल राशि पर कोई अधिभार नहीं लगाया जाएगा। खास बात ये है कि डिस्कनेक्शन के मामले में कनेक्शन को अग्रिम खपत जमा (ए सी डी) के अलावा किसी भी अतिरिक्त शुल्क के बिना बहाल किया जाएगा।
योजना में ऐसा भी होगा
अधीक्षण अभियंता ने कहा कि यदि कोई पात्र अंत्योदय घरेलू उपभोक्ता योजना का चयन करने के बाद लगातार 2 बिलिंग चक्रों के लिए बिजली बिलों के भुगतान में चूक करता है और योजना का लाभ प्राप्त करता है । ऐसा पात्र अंत्योदय परिवार अधीक्षण अभियंता (ओ. पी.) (सक्षम प्राधिकारी होने के नाते) के समक्ष फिर से प्रतिनिधित्व कर सकता है। ) अन्य राहत के लिए बशर्ते ऐसी राहत का दावा पहले अधिभार और आंशिक मूल माफी का लाभ प्राप्त करने की तारीख से दो वर्ष बीत जाने के बाद ही किया गया हो। तथापि, पात्र अंत्योदय परिवार में पूर्व लाभ प्राप्त करने की तिथि के बाद किसी मृत्यु या स्थायी अपंगता की स्थिति में 2 वर्ष की अवधि समाप्त होने की शर्त लागू नहीं होगी। यदि अंत्योदय परिवार इस बीच 1 लाख रुपये की वार्षिक आय सीमा को पार कर जाता है, तो ऐसा परिवार आगे लाभ प्राप्त करने के लिए पात्र नहीं होगा। पात्र अंत्योदय घरेलू उपभोक्ताओं को अपने विवादों को निपटाने (बिजली की चोरी) का अवसर दिया जायेगा जिसमे विवादित राशि का 25 प्रतिशत भुगतान करना होगा और यह राहत इस शर्त के अधीन होगी कि पात्र अंत्योदय घरेलू उपभोक्ता सभी मुकदमों को वापिस ले लेगा और बकाया राशि का भुगतान शर्तानुसार करेगा।